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आँखों को इंतज़ार है सरकार आपका
ना जाने होगा कब हमें दीदार आपका
अपनी वाणी में अमृत घोल
अपनी वाणी में अमृत घोल
हर पल तेरे साथ मैं रहता हूँ,
डरने की क्या बात? जब मैं बैठा हूँ
श्याम तेरी बंसी पुकारे राधा नाम
लोग करें मीरा को यूँ ही बदनाम
किशोरी कुछ ऐसा इंतजाम हो जाए।
जुबा पे राधा राधा राधा नाम हो जाए॥
ज़री की पगड़ी बाँधे, सुंदर आँखों वाला,
कितना सुंदर लागे बिहारी कितना लागे
तमन्ना यही है के उड के बरसाने आयुं मैं
आके बरसाने में तेरे दिल की हसरतो को
दुनिया से मैं हारा तो आया तेरे द्वार,
यहाँ से गर जो हरा कहाँ जाऊँगा सरकार
ना मैं मीरा ना मैं राधा,
फिर भी श्याम को पाना है ।
आज बृज में होली रे रसिया।
होरी रे रसिया, बरजोरी रे रसिया॥
तेरी मंद मंद मुस्कनिया पे ,बलिहार
तेरी मंद मंद मुस्कनिया पे ,बलिहार
फाग खेलन बरसाने आये हैं, नटवर नंद
फाग खेलन बरसाने आये हैं, नटवर नंद
हो मेरी लाडो का नाम श्री राधा
श्री राधा श्री राधा, श्री राधा श्री
मैं तो तुम संग होरी खेलूंगी, मैं तो तुम
वा वा रे रासिया, वा वा रे छैला
दुनिया का बन कर देख लिया, श्यामा का बन
राधा नाम में कितनी शक्ति है, इस राह पर
सांवरे से मिलने का, सत्संग ही बहाना है,
चलो सत्संग में चलें, हमें हरी गुण गाना
शिव कैलाशों के वासी, धौलीधारों के राजा
शंकर संकट हारना, शंकर संकट हारना
कारे से लाल बनाए गयी रे,
गोरी बरसाने वारी
साँवरिया ऐसी तान सुना,
ऐसी तान सुना मेरे मोहन, मैं नाचू तू गा ।
वृदावन जाने को जी चाहता है,
राधे राधे गाने को जी चाहता है,
श्याम बुलाये राधा नहीं आये,
आजा मेरी प्यारी राधे बागो में झूला
एक दिन वो भोले भंडारी बन कर के ब्रिज की
पारवती भी मना कर ना माने त्रिपुरारी,
यशोमती मैया से बोले नंदलाला,
राधा क्यूँ गोरी, मैं क्यूँ काला
श्याम बंसी ना बुल्लां उत्ते रख अड़ेया
तेरी बंसी पवाडे पाए लख अड़ेया ।
मीठे रस से भरी रे, राधा रानी लागे,
मने कारो कारो जमुनाजी रो पानी लागे
इक तारा वाजदा जी हर दम गोविन्द गोविन्द
जग ताने देंदा ए, तै मैनु कोई फरक नहीं
बांके बिहारी की देख छटा,
मेरो मन है गयो लटा पटा।
मेरी करुणामयी सरकार, मिला दो ठाकुर से
कृपा करो भानु दुलारी, श्री राधे बरसाने
मुझे रास आ गया है, तेरे दर पे सर झुकाना
तुझे मिल गया पुजारी, मुझे मिल गया
नी मैं दूध काहे नाल रिडका चाटी चो
लै गया नन्द किशोर लै गया,

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मिश्री चढ़ाऊ पान चढ़ाऊ,
लगाऊं भोग मैं छप्पन थारे,
लेके गौरा जी को साथ भोले भाले भोले नाथ,
काशी नगरी से आए हैं शिव शंकर...
श्री श्याम जय श्याम, श्री श्याम जय
जय जय श्याम...
चल एक बार खाटूवाले के द्वार,
तेरा हर एक काम सफल होगा,
पलके ही पलके बिछाएंगे,
जिस दिन श्याम प्यारे घर आयेंगे,