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प्रभु कर कृपा पावँरी दीन्हि
सादर भारत शीश धरी लीन्ही
शिव समा रहे मुझमें
और मैं शून्य हो रहा हूँ
आज बृज में होली रे रसिया।
होरी रे रसिया, बरजोरी रे रसिया॥
ज़िंदगी मे हज़ारो का मेला जुड़ा
हंस जब जब उड़ा तब अकेला उड़ा
लाडली अद्बुत नज़ारा तेरे बरसाने में
लाडली अब मन हमारा तेरे बरसाने में है।
तू कितनी अच्ची है, तू कितनी भोली है,
ओ माँ, ओ माँ, ओ माँ, ओ माँ ।
राधा ढूंढ रही किसी ने मेरा श्याम देखा
श्याम देखा घनश्याम देखा
मेरी चुनरी में पड़ गयो दाग री कैसो चटक
श्याम मेरी चुनरी में पड़ गयो दाग री
सावरे से मिलने का सत्संग ही बहाना है ।
सारे दुःख दूर हुए, दिल बना दीवाना है ।
यह मेरी अर्जी है,
मैं वैसी बन जाऊं जो तेरी मर्ज़ी है
आप आए नहीं और सुबह हो मई
मेरी पूजा की थाली धरी रह गई
जिनको जिनको सेठ बनाया वो क्या
उनसे तो प्यार है हमसे तकरार है ।
जीवन खतम हुआ तो जीने का ढंग आया
जब शमा बुझ गयी तो महफ़िल में रंग आया
फाग खेलन बरसाने आये हैं, नटवर नंद
फाग खेलन बरसाने आये हैं, नटवर नंद
एक दिन वो भोले भंडारी बन कर के ब्रिज की
पारवती भी मना कर ना माने त्रिपुरारी,
सत्यम शिवम सुन्दरम
सत्य ही शिव है, शिव ही सुन्दर है
सज धज कर जिस दिन मौत की शहजादी आएगी,
ना सोना काम आएगा, ना चांदी आएगी।
सुबह सवेरे  लेकर तेरा नाम प्रभु,
करते है हम शुरु आज का काम प्रभु,
कहना कहना आन पड़ी मैं तेरे द्वार ।
मुझे चाकर समझ निहार ॥
कारे से लाल बनाए गयी रे,
गोरी बरसाने वारी
तमन्ना यही है के उड के बरसाने आयुं मैं
आके बरसाने में तेरे दिल की हसरतो को
वृंदावन में हुकुम चले बरसाने वाली का,
कान्हा भी दीवाना है श्री श्यामा
हर साँस में हो सुमिरन तेरा,
यूँ बीत जाये जीवन मेरा
मेरे जीवन की जुड़ गयी डोर, किशोरी तेरे
किशोरी तेरे चरणन में, महारानी तेरे
दुनिया से मैं हारा तो आया तेरे द्वार,
यहाँ से गर जो हरा कहाँ जाऊँगा सरकार
कोई पकड़ के मेरा हाथ रे,
मोहे वृन्दावन पहुंच देओ ।
ये सारे खेल तुम्हारे है
जग कहता खेल नसीबों का
मेरे बांके बिहारी बड़े प्यारे लगते
कही नज़र न लगे इनको हमारी
जय शिव ओंकारा, ॐ जय शिव ओंकारा ।
ब्रह्मा, विष्णु, सदाशिव, अर्द्धांगी
मीठे रस से भरी रे, राधा रानी लागे,
मने कारो कारो जमुनाजी रो पानी लागे

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घर आएं हैं लक्ष्मण राम,
अयोध्या नगरी फूल रही॥
तेरे रंग में रंगूँगी मेरे सांवरे,
मैं तेरी थी रहूंगी मेरे साँवरे,
नमो नमो नमो गणपति देवाय...
हनुमान गगरिया भर ने दो, हमे लौट अवध को
हमे लौट अवध को जाना है, हमे लौट अवध को
सुबह उठके माँ से जब बात होती है,
ख़ुशी पूरा दिन मेरे साथ होती है...