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ब्रज जैसी भूमि नहीं,
ब्रज जैसो नहीं प्यार, 

ब्रज जैसी भूमि नहीं,
ब्रज जैसो नहीं प्यार, 
बृज जैसी भक्ति नहीं,
जैसे मुक्ति करे यह विचार,
ब्रज बन की लकड़ी बनूँ, 
बृज की बनूँ मैं धुल, 
पड़ी रहूं दिन रात मैं,
श्री जमुना जी के कूत, 
भजन करूँ दिन रात मैं,
बन संतन को दास, 
बृज भूमि प्यारी लगे,
मैं बृज का मोर बनूँ, 
गाऊं राधे राधे, 
गाऊं राधे राधे, 
मैं गाउँ श्यामा श्यामा, 
मैं बृज का मोर बनूँ, 
धन्य भाग उन लोगों के, 
जो ब्रज में आते जाते हैं,
उनसे भी धन्य धन्य है जो,
बृज में एक कुटी बनाते हैं, 
उनसे भी धन्य धन्य हैं जो,
वृन्दावन में बस जाते हैं,
उनसे भी धन्य धन्य हैं जो,
श्री राधा गोविन्द गाते हैं,
जो राधा गोविन्द गाते हैं,
मैं बृज का मोर बनूँ, 
बृज भूमि में रहना हमको, 
दुनियाँ से अच्छा लगता है,
लड्डू गोपाल मेरे नज़रों को,
सुन्दर सा बच्चा लगता है,
आनंद मुझे वृन्दावन का,
दुनियाँ से सच्चा लगता है,
राधा कृष्ण जुगल जोड़ी,
फूलों को गुच्छा लगता है,
मैं बृज का मोर बनूँ, 
बैठे बैठे इक भाव उठा,
क्या भाव उठा मेरे मन में,
दुनियाँ दारी को छोड़ चलूँ,
मैं बस जाऊं वृन्दावन में,
भक्ति कर राधा वल्लभ की,
हो पावन पावन मैं,
मन भज ले तू राधे राधे, 
तुझे कृष्ण मिलेंगे कण कण में,
मैं बृज का मोर बनूँ, 
स्वर्ग में नहीं है गोपी ग्वाल और गैया,
स्वर्ग में नहीं है गंगा जमुना का पानी,
स्वर्ग में नहीं है भागवत और गीता, 
स्वर्ग में नहीं है श्री राम की कहानी, 
स्वर्ग में नहीं है संत और संतसंग, 
स्वर्ग में नहीं है कोई बृज की निशानी, 
स्वर्ग में नहीं है वृन्दावन सो आनंद,
स्वर्ग में नहीं है मेरी श्यामा राधे रानी, 
मैं बृज का मोर बनूँ, 
स्वर्ग में नहीं है वृन्दावन की कुञ्ज गली, 
स्वर्ग में नहीं है तुलसी क़दमों की डाली, 
स्वर्ग में नहीं है गैया ग्वाल और गोपाल,
स्वर्ग में नहीं है मधुर गोरस की थाली, 
स्वर्ग में नहीं है देखो मोरपंख और बंसी,
स्वर्ग में नहीं है भाषा ब्रज सी निराली,
स्वर्ग में नहीं है मधुर बांके बिहारी जी,
स्वर्ग में नहीं है श्री राधे बरसाने वाली,
स्वर्ग में नहीं है श्री राधे बरसाने वाली,
मैं बृज का मोर बनूँ, 















 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 



braj jaisi bhoomi nahi,
braj jaiso nahi pyaar, 
baraj jaisi bhakti nahi,
jaise mukti kare

braj jaisi bhoomi nahi,
braj jaiso nahi pyaar, 
baraj jaisi bhakti nahi,
jaise mukti kare yah vichaar,
braj ban ki laki banoon, 
baraj ki banoon maindhul, 
pi rahoon din raat main,
shri jamuna ji ke koot, 
bhajan karoon din raat main,
ban santan ko daas, 
baraj bhoomi pyaari lage,
mainbaraj ka mor banoon, 
gaaoon radhe radhe, 
gaaoon radhe radhe, 
maingaaun shyaama shyaama, 
mainbaraj ka mor banoon, 
dhany bhaag un logon ke, 
jo braj me aate jaate hain,
unase bhi dhany dhany hai jo,
baraj me ek kuti banaate hain, 
unase bhi dhany dhany hain jo,
vrindaavan me bas jaate hain,
unase bhi dhany dhany hain jo,
shri radha govind gaate hain,
jo radha govind gaate hain,
mainbaraj ka mor banoon, 
baraj bhoomi me rahana hamako, 
duniyaan se achchha lagata hai,
laddoo gopaal mere nron ko,
sundar sa bachcha lagata hai,
aanand mujhe vrindaavan ka,
duniyaan se sachcha lagata hai,
radha krishn jugal joi,
phoolon ko guchchha lagata hai,
mainbaraj ka mor banoon, 
baithe baithe ik bhaav utha,
kya bhaav utha mere man me,
duniyaan daari ko chho chaloon,
mainbas jaaoon vrindaavan me,
bhakti kar radha vallbh ki,
ho paavan paavan main,
man bhaj le too radhe radhe, 
tujhe krishn milenge kan kan me,
mainbaraj ka mor banoon, 
svarg me nahi hai gopi gvaal aur gaiya,
svarg me nahi hai ganga jamuna ka paani,
svarg me nahi hai bhaagavat aur geeta, 
svarg me nahi hai shri ram ki kahaani, 
svarg me nahi hai sant aur santasang, 
svarg me nahi hai koi baraj ki nishaani, 
svarg me nahi hai vrindaavan so aanand,
svarg me nahi hai meri shyaama radhe raani, 
mainbaraj ka mor banoon, 
svarg me nahi hai vrindaavan ki kunj gali, 
svarg me nahi hai tulasi damon ki daali, 
svarg me nahi hai gaiya gvaal aur gopaal,
svarg me nahi hai mdhur goras ki thaali, 
svarg me nahi hai dekho morapankh aur bansi,
svarg me nahi hai bhaasha braj si niraali,
svarg me nahi hai mdhur baanke bihaari ji,
svarg me nahi hai shri radhe barasaane vaali,
svarg me nahi hai shri radhe barasaane vaali,
mainbaraj ka mor banoon, 















 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 







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